फर्जी बैनामा कराकर जमीन कब्जा करने की हुई शिकायत


भू - माफियों के हौंसले बुलंद, जिम्मेदार संबंधित अधिकारियों व पुलिस की कार्यशैली पर उठ रहे हैं सवालिया निशान

गोण्डा। जनपद में फर्जी जमीन बैनामे को लेकर हजारों मामले चल रहे हैं। वहीं लगातार पीड़ितों के द्वारा शिकायत भी की जा रही है,तो कई मामले न्यायालय में विचाराधीन भी हैं। मगर भू-माफिया किस्म के लोगों के हौंसले अभी भी बुलंद हैं। जिले के चारो तहसीलों में जमीन के ऐसे तमाम मामले है।

जिसकी शिकायत उच्चाधिकारियो से होती है फिर भी जिम्मेदारो के द्वारा सख्त कदम नहीं उठाया जाता है। जिसके कारण पीड़ितों को न्याय नहीं मिल पाता है। पीड़ित अपनी जमीन बचाने के लिए दर दर की ठोकरे खाते नजर आ रहे है। ऐसा ही मामला तहसील व कोतवाली कर्नलगंज के अन्तर्गत गुरसड़ा गांव में सामने आया है। 

यहाँ की निवासिनी पीड़ित महिला मोहनी ने जिलाधिकारी व पुलिस अधीक्षक गोण्डा को शिकायती पत्र देते हुये भू-माफिया दबंग लोगों के खिलाफ कार्यवाही की माँग की है। शिकायती पत्र में पीड़ित महिला मोहनी के द्वारा कहा गया है कि उनके द्वारा बीते वर्ष 31-10-2022 को अमरेश और सुमना देवी से जमीन बैनामा करवाया था,उक्त भूमि का राहुल मिश्रा व जय प्रकाश के द्वारा कूटरचित दस्तावेज तैयार कर दुबारा फर्जी बैनामा करवा लिया गया और जमीन पर अवैध कब्जा करने के फिराक में हैं और मना करने पर पूरे परिवार को जान से मारने की धमकी दे रहे हैं। 

पीड़िता इसके संबंध में स्थानीय राजस्व व पुलिस विभाग के अधिकारियों को कई बार प्रार्थना पत्र देकर कार्यवाही की मांग कर चुकी है जिसकी कोई सुनवाई नहीं हो रही है। मामले में कोतवाली कर्नलगंज व बालपुर चौकी पुलिस पर दबंगों को संरक्षण देने का आरोप है, जिसके चलते अभी तक विपक्षी गण के विरूद्ध कोई कार्यवाही नहीं हुई है। जिससे पीड़ित महिला न्याय के लिए दर दर भटक रही है। दूसरा मामला विकास खण्ड हलधरमऊ के दत्तनगर में प्रकाश में आया है। यहाँ की रहने वाली सुनीता पत्नी हरिशंकर ने सम्पूर्ण समाधान दिवस में शिकायती पत्र देते हुये कहा कि ब्रिजेन्द्र तिवारी निवासी हटही और अन्य लोगों द्वारा उसकी भूमि गाटा संख्या 412,413 व 443 जो दत्तनगर में स्थित है,उस भूमि का कूटरचित दस्तावेज तैयार कर फर्जी बैनामा करवा लिए हैं।

 जानकारी होने पर पीड़ित के द्वारा उक्त भूमि बैनामे को ख़ारिज कराने के लिए न्यायालय में मुकदमा दायर किया गया जो न्यायालय में विचाराधीन है। इसके बावजूद विपक्षी दबंगई के बल पर विवादित भूमि पर कब्जा करना चाहते हैं। मना करने पर विपक्षी अपशब्द कहते हुये उसे जान से मारने की धमकी दे रहे हैं।आपको बता दें कि ऐसे तमाम मामले तहसील कर्नलगंज में हैं, जहाँ कूटरचित दस्तावेज तैयार कर विभाग की मिलीभगत से फर्जी बैनामे हो चुके हैं और हो रहे हैं। जबकि गोण्डा में फर्जी बैनामा करवाने वालों के खिलाफ डीआईजी देवीपाटन मंडल के निर्देशन पर एसआई टी के द्वारा जांच किया जा रहा है और जांच में कई बड़े भू - माफियाओं को जेल भी भेजा गया है।

फिर भू - माफियों के हौंसले बुलंद हैं। इससे कहीं न कहीं विभाग के जिम्मेदारों की कार्यशैली पर सवालिया निशान उठ रहे हैं। अब देखना ये होगा कि जिस तरीके से एसआईटी के द्वारा गोण्डा जिले की सदर तहसील में जांच की जा रही है वैसे तहसील कर्नलगंज में कब जांच शुरू होंगी और पीड़ित गरीब असहाय लोगों और सरकारी जमीन पर भू - माफियों का कब्जा करने का सिलसिला जारी रहेगा या अंकुश लगेगा? ये तो आने वाला समय ही बतायेगा?

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