फर्जीवाड़ा में बेटा गिरफ्तार, बाप फरार

चकबंदी अधिकारियों का फर्जी आदेश बना आबादी के रूप में दर्ज करा ली थी मदरसे की जमीन।


कुंडा (प्रतापगढ़)। फर्जीवाड़ा कर दूसरे की जमीन हथियाने वाले नटवरलालों के खिलाफ पुलिस ने शिकंजा कस दिया है। परिणामस्वरूप नामजद बाप-बेटों में से बेटा जहां जेल पहुंच गया वहीं बाप अपने दो अन्य साथियों के साथ भागा-भागा फिर रहा है। इस गिरोह के खिलाफ कुंडा पुलिस की ओर से की गई कार्रवाई ने भूमाफियाओं और फर्जीवाड़ा करने वालों के होश उड़ा दिए हैं। 
 बाघराय थाना क्षेत्र के रामदास पट्टी गांव में मदरसे की एक जमीन  है। जमीन पर उसी गांव के निवासी रणबहादुर सिंह उर्फ झल्लर पुत्र लालबहादुर सिंह की नजर गड़ गई। इलाके में इनकी पहचान भूमाफिया के रूप में है। इनके फर्जीवाड़े में इनका इकलौता बेटा नलनीश सिंह उर्फ बबलू भी बढ़चढ़कर हाथ बंटाता है। लोग तो यहां तक कहते हैं कि इन दोनों की स्थिति बाप नम्बरी तो बेटा दस नम्बरी वाली है। आरोप है कि इन दोनों ने अपने गिरोह के दो और सदस्यों के साथ मिलकर चकबंदी अधिकारी और सहायक चकबंदी अधिकारी के फर्जी आदेश बना मदरसे की जमीन आबादी के रूप में दर्ज करा ली। जब यह लोग उस पर कब्जा करने लगे तब मदरसा समिति को इसकी जानकारी हुई। इससे समिति के लोगों के होश उड़ गए। न्याय के लिए मदरसा समिति ने एसीजेएम कुंडा की अदालत का दरवाजा खटखटाया। मामला फर्जी पाए जाने पर कोर्ट ने आरोपियों के खिलाफ पुलिस को मुकदमा दर्ज कर विवेचना और कार्रवाई का आदेश दिया। न्यायालय के आदेश पर मदरसा समिति ने कुंडा कोतवाली में रणबहादुर सिंह उर्फ झल्लर पुत्र स्व. लालबहादुर सिंह तथा उनके बेटे नलनीश सिंह और दो अज्ञात के खिलाफ फर्जीवाड़ा की रिपोर्ट दर्ज करा दी। मामले की गंभीरता को कुंडा कोतवाल डीपी सिंह तत्काल समझ गए। उन्हें लग गया कि इलाके में भूमाफियाओं का गिरोह तेजी से पांव पसार रहा है। इसलिए इन पर तत्काल अंकुश लगना बहुत जरूरी है। इसी को ध्यान में रखते हुए उन्होंने इस प्रकरण की जांच तेजतर्रार उप निरीक्षक महेश जायसवाल को सौंपते हुए निष्पक्ष जांच और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई का निर्देश दिया। बताया जाता है कि पुलिस की जांच में भूमाफियाओं के सभी दस्तावेज फर्जी पाए गए। जिन चकबंदी अधिकारियों के आदेश के जरिए इन लोगों ने मदरसे की जमीन को ग्राम सभा में दर्ज कराई थी, उन सभी ने विवेचक के सामने उपस्थित होकर अपने हस्ताक्षर को फर्जी बताया। इसके बाद तो विवेचक को यह समझने में देर ही नहीं लगी कि यह ' नटवरलालों' का बड़ा गिरोह है। सभी आदेश कूटरचित दस्तावेजों के आधार पर कराए गए हैं। जांच में दोषी मिलते ही विवेचक महेश जायसवाल ने बेटे नलनीश सिंह को गिरफ्तार कर चालान कर न्यायालय में पेश किया, जहां से अदालत ने उसको जेल भेज दिया। फर्जीवाड़े का मुख्य आरोपी और मास्टरमाइंड नलनीश का पिता रणबहादुर सिंह उर्फ झल्लर और उसके दोनों अन्य साथी फरार हैं। बताया जाता है कि नलनीश कुछ दिन पहले ही फ्रॉड के एक मामले में जेल से जमानत पर छूटकर बाहर आया था। ग्रामीणों का यह भी कहना है कि बाप-बेटों पर विभिन्न थानों में गंभीर धाराओं में अनेक मुकदमे दर्ज हैं। बहरहाल कुंडा पुलिस की ओर से की गई इस कार्रवाई से इलाके के भू माफियाओं में हड़कंप की स्थिति है।

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