अंबेडकर नगर
तीन माह पहले अधिवक्ता प्रमोद कुमार पाण्डेय द्वारा किये शिकायत मे जिले के खाद्य एवं विपणन विभाग में धान खरीद में अनियमितता के मामले में अधिवक्ता द्वारा शिकायत की जांच में जबाब देने के बजाय अधिकारी कन्नी काटते नजर आ रहे है और धमकी दिला रहे है। जब कि अधिवक्ता ने अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व को शपथ पत्र देकर जांच एवं कार्यवाही की मांग किया है।
ज्ञात हो कि जनपद न्यायालय के अधिवक्ता प्रमोद कुमार पाण्डेय ने लगभग 3 माह पूर्व डीएम, संभागीय खाद्य नियंत्रक अयोध्या व मुख्यमंत्री उ.प्र. शासन को शिकायती पत्र भेजकर अवगत कराया था कि इस जिले में तैनात जिला खाद्य एवं विपणन अधिकारी अजीत प्रताप सिंह व उनके चहेते विकास खण्डों में तैनात एसएमआई के द्वारा धान खरीद में घोर अनियमितता की जा रही है जिसकी अभी तक निष्पक्ष जांच नहीं हो पायी। अधिवक्ता ने फिर यह आरोप लगाते हुये सभी के संज्ञान में लाया कि अपने को फसते जिला खाद्य एवं विपणन अधिकारी व एसएमआई समझौते के लिए बार-बार दो लोगों से धमकी दिलवा रहे है जिनके द्वारा यह कहा जा रहा है कि साहब की गहरी पैठ है, कुछ बना बिगाड़ नहीं पाओगे।
उन्होने पत्र में बताया है कि इसमें जिम्मेदार अधिकारी अपने को फसते नजर आ रहे है, कारण रविवार के दिन केन्द्रों पर खरीद का प्राविधान नहीं है किन्तु करायी गयी है।
अधिवक्ता ने संवाददाता को बताया कि सोमवार को शासन व उच्चाधिकारियों के द्वारा जांच में नामित अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व के समक्ष पेश होना था जहां जिला खाद्य एवं विपणन अधिकारी नहीं आये।
उन्होने बताया कि जिन लोगों ने मेरे मोबाइल पर फोन किया है, जब जानकारी की तो पता चला कि वे शातिर अपराधी हैं किन्तु नाम नहीं मालूम हो सका है। ऐसी दशा में आज इस आशय का शपथ पत्र पटल लिपिक को दे दिया है कि मेरे द्वारा जो शिकायती पत्र में उल्लेख किया गया है वहीं मेरा बयान है।
यह भी कहा है कि यदि इस बीच कोई अप्रिय घटना होती है तो उसके जिम्मेदार जिला खाद्य एवं विपणन अधिकारी अजीत प्रताप सिंह होंगे।
तीन माह पहले अधिवक्ता प्रमोद कुमार पाण्डेय द्वारा किये शिकायत मे जिले के खाद्य एवं विपणन विभाग में धान खरीद में अनियमितता के मामले में अधिवक्ता द्वारा शिकायत की जांच में जबाब देने के बजाय अधिकारी कन्नी काटते नजर आ रहे है और धमकी दिला रहे है। जब कि अधिवक्ता ने अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व को शपथ पत्र देकर जांच एवं कार्यवाही की मांग किया है।
ज्ञात हो कि जनपद न्यायालय के अधिवक्ता प्रमोद कुमार पाण्डेय ने लगभग 3 माह पूर्व डीएम, संभागीय खाद्य नियंत्रक अयोध्या व मुख्यमंत्री उ.प्र. शासन को शिकायती पत्र भेजकर अवगत कराया था कि इस जिले में तैनात जिला खाद्य एवं विपणन अधिकारी अजीत प्रताप सिंह व उनके चहेते विकास खण्डों में तैनात एसएमआई के द्वारा धान खरीद में घोर अनियमितता की जा रही है जिसकी अभी तक निष्पक्ष जांच नहीं हो पायी। अधिवक्ता ने फिर यह आरोप लगाते हुये सभी के संज्ञान में लाया कि अपने को फसते जिला खाद्य एवं विपणन अधिकारी व एसएमआई समझौते के लिए बार-बार दो लोगों से धमकी दिलवा रहे है जिनके द्वारा यह कहा जा रहा है कि साहब की गहरी पैठ है, कुछ बना बिगाड़ नहीं पाओगे।
उन्होने पत्र में बताया है कि इसमें जिम्मेदार अधिकारी अपने को फसते नजर आ रहे है, कारण रविवार के दिन केन्द्रों पर खरीद का प्राविधान नहीं है किन्तु करायी गयी है।
अधिवक्ता ने संवाददाता को बताया कि सोमवार को शासन व उच्चाधिकारियों के द्वारा जांच में नामित अपर जिलाधिकारी वित्त एवं राजस्व के समक्ष पेश होना था जहां जिला खाद्य एवं विपणन अधिकारी नहीं आये।
उन्होने बताया कि जिन लोगों ने मेरे मोबाइल पर फोन किया है, जब जानकारी की तो पता चला कि वे शातिर अपराधी हैं किन्तु नाम नहीं मालूम हो सका है। ऐसी दशा में आज इस आशय का शपथ पत्र पटल लिपिक को दे दिया है कि मेरे द्वारा जो शिकायती पत्र में उल्लेख किया गया है वहीं मेरा बयान है।
यह भी कहा है कि यदि इस बीच कोई अप्रिय घटना होती है तो उसके जिम्मेदार जिला खाद्य एवं विपणन अधिकारी अजीत प्रताप सिंह होंगे।