सरकार लड़कियों की शादी की कानूनी उम्र को लेकर जल्द ही एक महत्वपूर्ण निर्णय लेने जा रही है। सरकार लड़कियों की उम्र 8 से बढ़ाकर 21 वर्ष करने पर विचार कर रही है। इसके लिए सरकार ने एक टास्क फोर्स का गठन किया है। इस फोर्स की अध्यक्ष वरिष्ठ नेता जया जेटली होगी।
टास्क फोर्स कम उम्र में मां बनने और विवाह से संबंधित मामलों की फिर से जांच करेगी। आपको बता दें कि साल 978 में शारदा अधिनियम में संशोधन के बाद लड़कियों की शादी की कानूनी उम्र 5 से बढ़ाकर 18 वर्ष किया गया था। जो बाल विवाह अधिनियम के मुताबिक अब तक 8 वर्ष ही चला आ रहा था।
बता दें कि भारत में इस समय लड़की की शादी के लिए न्यूनतम उम्र 18 साल और लड़के के लिए 21 साल तय की गई है। सरकार ने टास्क फोर्स से कहा है कि वह लड़कियों की शादी की उम्र सीमा को लेकर समीक्षा करे साथ ही साथ ही महिलाओं के बीच हाई एजुकेशन को बढ़ावा देने के लिए सुझाव भी दें।
केंद्र सरकार द्वारा गठित यह टास्क फोर्स अपनी रिपोर्ट 30 जुलाई तक तैयार कर लेगी और 31 जुलाई को रिपोर्ट सरकार को सौपेंगी। बताया जाता है कि यह टास्क फोर्स इस रिपोर्ट में लड़कियों के विवाह करने उनके मा बनने और उनके शिक्षा, रहन-सहन, जैसी अन्य बातों को लेकर समीक्षा करेंगे।
इस टास्क फोर्स में जया जेटली के अलावा, नीति आयोग के सदस्य डॉ वी के पॉल, स्वास्थ्य, महिला एवं बाल विकास, प्राथमिक और उच्च शिक्षा और विधायी विभाग के सचिव, नजमा अख्तर, वसुधा कामथ और दीप्ति शाह भी सदस्य के तौर पर शामिल हैं।
गौरतलब रहे कि, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने इस साल आम बजट पेश करते हुए महिला के मां बनने की सही उम्र के निर्धारण के लिए एक टास्क फोर्स के गठन का ऐलान किया था।
टास्क फोर्स कम उम्र में मां बनने और विवाह से संबंधित मामलों की फिर से जांच करेगी। आपको बता दें कि साल 978 में शारदा अधिनियम में संशोधन के बाद लड़कियों की शादी की कानूनी उम्र 5 से बढ़ाकर 18 वर्ष किया गया था। जो बाल विवाह अधिनियम के मुताबिक अब तक 8 वर्ष ही चला आ रहा था।
बता दें कि भारत में इस समय लड़की की शादी के लिए न्यूनतम उम्र 18 साल और लड़के के लिए 21 साल तय की गई है। सरकार ने टास्क फोर्स से कहा है कि वह लड़कियों की शादी की उम्र सीमा को लेकर समीक्षा करे साथ ही साथ ही महिलाओं के बीच हाई एजुकेशन को बढ़ावा देने के लिए सुझाव भी दें।
केंद्र सरकार द्वारा गठित यह टास्क फोर्स अपनी रिपोर्ट 30 जुलाई तक तैयार कर लेगी और 31 जुलाई को रिपोर्ट सरकार को सौपेंगी। बताया जाता है कि यह टास्क फोर्स इस रिपोर्ट में लड़कियों के विवाह करने उनके मा बनने और उनके शिक्षा, रहन-सहन, जैसी अन्य बातों को लेकर समीक्षा करेंगे।
इस टास्क फोर्स में जया जेटली के अलावा, नीति आयोग के सदस्य डॉ वी के पॉल, स्वास्थ्य, महिला एवं बाल विकास, प्राथमिक और उच्च शिक्षा और विधायी विभाग के सचिव, नजमा अख्तर, वसुधा कामथ और दीप्ति शाह भी सदस्य के तौर पर शामिल हैं।
गौरतलब रहे कि, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने इस साल आम बजट पेश करते हुए महिला के मां बनने की सही उम्र के निर्धारण के लिए एक टास्क फोर्स के गठन का ऐलान किया था।