अब टीईटी और सी-टीईटी के लिए मिलेंगे केवल तीन मौके

प्रयागराज:- उत्तर प्रदेश में शिक्षक बनना अब आसान होता नही दिख रहा, नई शिक्षा नीति के अनुसार बी.एड या डी.एल.एड प्रशिक्षण प्राप्त कर चुके प्रशिक्षुओं को अब शिक्षक के पद के लिए स्वयं को‌ योग्य साबित करने के सिर्फ तीन ही मौके मिलेंगे। परीक्षा नियामक प्राधिकारी प्रयागराज अनिल भूषण चतुर्वेदी ने अमर उजाला से बातचीत में बताया जो‌ प्रशिक्षु टीईटी या सी-टीईटी की परीक्षा में तीन बार भाग ले चुके होंगे वो चौथी बार टीईटी या सी-टीईटी की अर्हता परीक्षा में भाग नही ले पाएंगे। जिसमें टीईटी तीन बार  और सी-टीईटी दो बार शामिल है। जनरल व ओबीसी छात्रों को दो बार और एससी व एसटी छात्रों को‌ तीन बार मौके दिये जाएंगे।
इसलिए बेहतर है छात्र उचित तैयारी के साथ परीक्षा में सम्मिलित हो और तीन बार से पहले‌ ही टीईटी या सी-टीईटी पास कर लें। यह नियम 2020 की जनवरी में दी गयी टीईटी की परीक्षा से लागू हो चुका है अर्थात जो छात्र 2020 में परीक्षा दे चुके है परन्तु उत्तीर्ण नही हुए उनके पास अब महज दो मौके और बचे है।

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ
* Please Don't Spam Here. All the Comments are Reviewed by Admin.